तुम हो राजा मेरे गढ़ के,
रखो अपने हाथों को मुझ पर
और करो शुरुआत बर्बादी की
अब ना छोड़ो साथ मेरा
ले लो जो चाहो तुम मुझसे,
मैं हूँ तैयार तुमको थामने के लिये अब
तुम ही रहते हो मेरे मन में ओह मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
ले लो जो चाहो तुम मुझसे,ना ना
तुम हो वो जो चाहूँ मैं, तुम हो वो जो चाहूँ मैं
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
चाहूँ मैं खुद को खोना तुम में,
बोलो कैसे मैं समझाऊँ ये तुमको
मुझे नहीं पता क्या मेरे पास हैं,हैं ,हैं
अगर पुकारोगे तो मैं आ जाऊँगी,जाऊँगी,जाऊँगी
चाहूँ मैं खुद को खोना तुम में,
चाहूँ मैं तुम रुक जाओ सुबह तक
मुझे नहीं पता क्या मेरे पास हैं,हैं ,हैं
अगर पुकारोगे तो मैं आ जाऊँगी,जाऊँगी,जाऊँगी
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
ले लो जो चाहो तुम मुझसे,ना ना
तुम हो वो जो चाहूँ मैं, तुम हो वो जो चाहूँ मैं
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
तुमने करवाया महसूस मुझे जैसे बढ़ो
तुमने करवाया महसूस मुझे जैसे बढ़ो
मत,मत ,मत करो मुझे निराश,निराश,निराश
तुम,तुम,तुम घुमा देते मुझे गोल,गोल,गोल
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
ले लो जो चाहो तुम मुझसे,ना ना
तुम हो वो जो चाहूँ मैं, तुम हो वो जो चाहूँ मैं
तुम ही रहते हो मेरे मन में मेरे प्रिय
ना ना भूलना नहीं अब मुझे ना ना ना
तुम नहीं जानते कैसा लगे मुझे जब तुम लो मेरा नाम
तुम नहीं जानते कैसा लगे मुझे जब तुम लो मेरा नाम