स्पाईनल:
वेल, वेल, वेल,वेल, वेल!
आओ देखूँ मैं ये प्राणी-शाला!
तुम हो ऐमेथस्ट
तुम हो गॉर्नेट
और पिंक डाइमंड के पर्ल,
वो ले गई तुमको थी साथ अपने, क्या नहीं ये हैं बढ़िया?
पर्ल:
नहीं हो सकता ये!
स्पाईनल:
ओह,मगर ऐसा हो सकता हैं! और हुआ हैं!
मेरे पास है नई स्टाइल और नये खिलौने
वो कर देंगे ख़त्म सब
तुम्हारी हमेशा के लिये,एक और आख़री बार पे!
स्टीवन:
वो,वो!
ये शायद हैं कोई गड़बड़,
अगर तुमने सुना नहीं ,
मैंने की स्थापित शांति उस पार-
स्पाईनल:
हाँ, हाँ , मैंने सुना था
मुझे मिला था तुम्हारा वो संदेश घूम फिर के!
मुझे बस पसंद वो हिस्सा जब पिंक डाइमंड करती खर्च
इस साधारण ग्रह पर
कुछ अति साधारण लोगों के साथ!
सच हैं नहीं सुनी मैंने कहानी बार बार
ख़ुशी हैं फिर से मिलूँ उसके दूसरे दोस्तों से
सच हैं सुनी हैं मैंने कहानी, सिर्फ़ पसंद नहीं उसका अंत
ख़ुशी हैं फिर से मिलूँगी उसके दूसरे दोस्तों से
क्या बोला उसने मेरे बारे में? क्या बोला उसने?
क्या तुमने किया मेरे बिना? क्या तुमने किया मेरे बिना?
क्या तुमने खेले खेल मेरे बिना? क्या खेला तुमने?
क्या तुमने सोचा इतने समय तक मुझे नहीं चलेगा कभी पता तुम्हारे बारे में?
सच हैं नहीं सुनी मैंने कहानी बार बार
ख़ुशी हैं फिर से मिलूँगी उसके दूसरे दोस्तों से
गॉर्नेट:
वो घूम रही हमारे चारों ओर!
ऐमेथस्ट:
मैं थक गई हूँ,चाहिये मुझे ब्रेक!
पर्ल:
वो सच में हैं, पर काश वो ये नहीं चाहती हो!
स्टीवन:
तुम उसको जानती हो, पर्ल?
क्या तुम बता सकती हमें कौन हे वो?
स्पाईनल:
मैं कौन हूँ?मैं कौन हूँ?तुम ये क्या बोल रहे हो?
मैं उस खेल का हारा खिलाड़ी हूँ जो अब तक तुमने नहीं खेला!
चलो इस बार खेलते हैं दूसरा खेल जिसमें मुझे मिले जीतने को
ज़िंदगी दाव पर
विजेता ले जायेगा सब
तैयार हो या नहीं
खेल शुरू!
ओह,सच हैं नहीं सुनी मैंने कहानी बार बार
ख़ुशी हैं फिर से मिलूँ उसके दूसरे दोस्तों से
सच हैं सुनी हैं मैंने कहानी, सिर्फ़ पसंद नहीं उसका अंत
ख़ुशी हैं फिर से हरा दूँ उसके दूसरे…
दूसरे…
दूसरे दोस्तों को…